SDMC: पार्किंग घोटाले की सीबीआई जांच की मांग, रद्द होंगे ठेके

-कांग्रेस व आम आदमी पार्टी ने उठाऐ निगम अधिकारियों की नीयत पर सवाल
-ठेके रद्द करने के लिए स्थायी समिति अध्यक्ष ने कमिश्नर को लिखा पत्र

टीम एटूजैड/ नई दिल्ली
दिल्ली कांग्रेस ने दक्षिणी दिल्ली नगर निगम में हुए पार्किंग ठेका घोटाले की जांच सीबीआई से कराने की मांग की है। पार्टी के वरिष्ठ नेता और पूर्व निगम पार्षद खविंद्र सिंह कैप्टन ने कहा है कि छह मल्टी लेबल अंडर ग्राउंड पार्किंग के ठेके लॉकडाउन के दौरान बेहद कम मासिक लाइसेंस फीस पर दिया जाना, अपने आप में सवाल उठाता है। लॉकडाउन के दौरान खुद निगम कार्यालय पूरी तरह से नहीं खुले थे। ऐसे में ऑनलाइन ऑक्शन में भाग लेने वालों को दूर रखने के लिए अधिकारियों ने यह चाल चली है। खास बात है कि लोगों से पार्किंग में घंटों के हिसाब से वसूली की जाती है। लेकिन इसका फायदा नगर निगम को ही नहीं हो रहा।

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खविंद्र सिंह कैप्टन ने कहा कि मामले की जांच सीबीआई से कराई जानी चाहिए। इससे दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा। अधिकारियों का काम निगम की आमदनी बढ़ाने का है, न कि इसे घटाने का। जिस तरह के आरोप सामने आ रहे हैं, अधिकारियों को खुद ही इस टेंडर प्रक्रिया को रद्द कर दोबारा से टेंडर आमंत्रित करने चाहिए, ताकि बोली में ज्यादा से ज्यादा लोग भाग ले सकें।

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कांग्रेस नेता ने कहा कि अधिकारियों और बीजेपी नेताओं की मिलीभगत से दक्षिणी दिल्ली नगर निगम को करोड़ों रूपये का चूना लगाया जा रहा है। 31 मई को यह छह पार्किंग नए ठेकेदारों को हैंडओवर कर दिए गए तो अगले पांच साल तक नगर निगम को करोड़ों रूपयों का नुकसान उठाना पड़ेगा।
दूसरी ओर आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता घनेंद्र भारद्वाज ने कहा कि सत्ताधारी बीजेपी के नेता नगर निगम की लूट-खसोट में लगे हैं। पूरे मामले की जांच होनी चाहिए। जो भी अधिकारी या नेता इसमें शामिल पाया जाता है, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। जिस तरह से तीन ठेकेदारों को दो-दो पार्किंग दिए गए हैं, उससे अपने आप ही अफसरों और ठेकेदारों की मिलीभगत की आशंका होती है। अधिकारियों ने उन ठेकेदारों को भी ऑनलाइन बोली प्रक्रिया में भाग नहीं लेने दिया, जो पहले से निगम की पार्किंग चला रहे हैं, तो यह और भी ज्यादा गलत है। हमारी जानकारी में आया है कि अधिकारियों ने एक-एक पार्किंग लाखों रूपये के घाटे से दिया गया है। सारा पैसा तो माफिया की जेब में चला जाएगा फिर इससे नगर निगम को क्या फायदा होगा?

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स्थायी समिति अध्यक्ष ने ठेके रद्द करने को कमिश्नर को लिखा पत्र
दक्षिणी दिल्ली नगर निगम की स्थायी समिति के अध्यक्ष भूपेंद्र गुप्ता ने पार्किंग घोटाले की खबर पर कड़ा संज्ञान लिया है। श्री गुप्ता ने निगम आयुक्त ज्ञानेश भारती को पार्किंग के यह ठेके तुरंत रद्द करने के लिए पत्र लिखा है। उन्होंने कहा कि हम लोग कोरोना और लॉकडाउन के दौरान लोगों की मदद में लगे हुए थे। अपने-अपने इलकों में काम कर रहे थे। उस समय अधिकारियों ने मिलीभगत करके यह ठेके अपनी पसंद के कुछ लोगों को दे दिए हैं। ठेके देने की यह गलत प्रक्रिया अपनाई गई है। इससे पहले भी निगम को इन पार्किंग से कुछ नहीं मिल रहा था और अब भी कोई खास लाभ नहीं है। उन्होंने बताया कि हमने कमिश्नर को कहा है कि इन पार्किंग के ठेके देने के लिए टेंडर की पूरी प्रक्रिया गोपनीय तरीके से अपनाई जानी चाहिए।

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बीजेपी ने साधी चुप्पी
दक्षिणी दिल्ली नगर निगम में 6 मल्टी लेबल अंडर ग्राउंड पार्किंग के ठेके देने में बड़ी हेरा-फेरी की बात सामने आने के बाद प्रदेश भारतीय जनता पार्टी बैकफुट पर आ गई है। पार्टी के नेताओं ने इस घोटाले पर पूरी तरह से चुप्पी साध ली है। पार्किंग घोटाले में अपनी ही पार्टी के एक नेता के अप्रत्यक्ष रूप से शामिल होने की खबर के बाद तो पार्टी नेताओं ने कुछ कहने से ही मना कर दिया। एटूजैड न्यूज ने पार्टी के दिल्ली प्रदेश बीजेपी के कई नेताओं से इस मामले पर प्रतिक्रिया मांगी लेकिन ‘पारदर्शिता’ पर जोर देने वाली पार्टी के इन नेताओं में से कोई भी पार्टी की ओर से अपनी बात कहने के लिए सामने नहीं आया।
6 पार्किंग के मांगे गए थे टेंडर
दक्षिणी दिल्ली नगर निगम ने इसी साल 16 मार्च को हौज खास, मुनीरका, राजौरी गार्डन, सुभाष नगर और न्यू फ्रैंड्स कालोनी की मल्टी लेबल पार्किंग के लिए एडवांस मासिक लाइसेंस फीस के आधार पर टेंडर मांगे थे। ई-ऑक्शन की प्रक्रियां पूरी करने के लिए 27 अप्रैल 2020 तक का समय दिया गया था। 13 मई को इन पार्किंग का ई-ऑक्शन किया गया है। इसके लिए कुल 7 बिडर्स ने प्रक्रिया में भाग लिया। लेकिन अधिकारियों ने 4 भागीदारों की बिड बिना कारण बताए रद्द करते हुए बाकी तीन बिडर्स को दो-दो पार्किंग साइट दे दिए। अधिकारियों ने ज्यादा बिडर्स को बोली प्रक्रिया में भाग लेने का मौका ही नहीं दिया।
रिजर्व प्राइस के आस-पास दे दिए ठेके
बता दें कि हौज खास, मुनीरका, राजौरी गार्डन, सुभाष नगर और न्यू फ्रैंड्स कालोनी पार्किंग के लिए 1-1 लाख रूपये और कालकाजी पार्किंग के लिए 2 लाख 71 हजार 227 रूपये प्रति महीने की रिजर्व प्राइस रखी गई थी। लेकिन अधिकारियों ने ज्यादा मासिक शुल्क की बिड भरने वालों के आवेदन रद्द कर रिजर्व प्राइस के आसपास की राशि भरने वाले ठेकेदारों को ठेके दे दिए।