-बीजेपी के गिरते ग्राफ से बंधी आप को वापसी की आस
-छूट की लूट ने बंधाई आप को सत्ता में वापसी की उम्मीद
हीरेन्द्र राठौड़/ नई दिल्ली
हरियाणा के सियासी मैदान में मिली हार में आम आदमी पार्टी के नेता जीत का अहसास ढूंढ रहे हैं। राज्य में करारी हार के बावजूद सीएम अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी के नेता खुश नजर आ रहे हैं। दो राज्यों के विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी का ग्राफ गिरा है। महाराष्ट्र में शिवसेना के साथ हाथ मिलाकर बीजेपी खुद को फंसा हुआ महसूस कर रही है। दूसरी ओर हरियाणा में सरकार बनाने के लिए उसे दूसरे दलों और निर्दलीयों का सहारा लेना पड़ा। भाजपा की यह स्थिति दिल्ली में आम आदमी पार्टी के लिए फायदेमंद साबित होने वाली है।
दरअसल फरवरी 2020 में दिल्ली विधानसभा चुनाव होने हैं। इस चुनाव में भाजपा और आम आदमी पार्टी की सीधी टक्कर होनी है। सियासी जानकारों का कहना है कि दिल्ली में कांग्रेस की स्थिति बहुत ज्यादा अच्छी नहीं है। हालांकि सुभाष चोपड़ा को अध्यक्ष बनाए जाने के बाद कांग्रेस में हलचल शुरू हो गई है। ऐसे में भाजपा का गिरता ग्राफ आम आदमी पार्टी की स्थिति को मजबूत करेगा। ऐसे में आम आदमी पार्टी के दिल्ली की सत्ता में दोबारा आने की उम्मीदें बढ़ गई हैं।
खोला सौगातों का पिटाराः
आम आदमी पार्टी के मुखिया अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली वालों के लिए सौगातों का पिटारा खोल रखा है। आए दिन वह दिल्ली के मतदाताओें के लिए नई-नई घोषणाएं कर रहे हैं। केजरीवाल सरकार ने सबसे पहले दिल्ली वालों के लिए 200 यूनिट तक बिजली की खपत पर बिल माफ करने की घोषणा की। इसका फायदा लोगों को मिलना शुरू हो गया है। इसके बाद केजरीवाल ने लोगों के पानी के बकाया बिलों को कुछ शर्तों के साथ माफ किया है। इसी के साथ केजरीवाल सरकार ने दिल्ली ऑटो वालों को फिटनेस फीस के साथ दूसरे शुल्क माफ करके बड़ी राहत दी है। साथ ही दिल्ली के टैक्सी चालकों पर लगने वाले फिटनेस शुल्क को भी सरकार ने माफ कर दिया है। ऐसे में आम आदमी पार्टी के पास उसका नाराज वोटर फिर से वापसी करने लगा है।
डीटीसी में महिलाओं को मुफ्त यात्राः
दिल्ली केजरीवाल सरकार ने 29 अक्टूबर यानी भैया दूज के दिन से दिल्ली में डीटीसी बसों में महिलाओं के लिए मुफ्त यात्रा शुरू कर दी है। मुख्यमंत्री ने घोषणा की है कि आने वाले दिनों में आम आदमी पार्टी सरकार बुजुर्गों और छोत्रों को भी डीटीसी व क्लस्टर बसों में मुफ्त यात्रा की सुविधा देने पर विचार कर रही है।
सीसीटीवी कैमरों, वाईफाई, डेंगू और ऑड-ईवन का प्रचारः
आम आदमी पार्टी के मुखिया अरविंद केजरीवाल ने पिछले चार सालों में दिल्ली में हुए विभिन्न निकायों के कामों को भी अपने नाम कर लिया है। दिल्ली के मुख्यमंत्री ने अपनी पूरी ताकत सरकार के प्रचार में झोंक रखी है। सीसीटीवी, डेंगू, वाईफाई और ऑड-ईवन के धुंआधार प्रचार ने दिल्ली भाजपा को बैकफुट पर लाकर रख दिया है।
भाजपा के पास राष्ट्रीय मुद्दे और पीएम का नामः
दिल्ली में भाजपा के पास पीएम नरेंद्र मोदी की लोकप्रियता और राष्ट्रीय मुद्दों के अलावा कुछ नहीं है। दिल्ली भाजपा के नेता ऐसा कोई मुद्दा नहीं उठा सके, जिसके आधार पर आम आदमी पार्टी की सरकार को घेरा जा सके। पिछले दो वर्षों में दिल्ली भाजपा केजरीवाल सरकार के विरोध में एक भी ऐसा धरना-प्रदर्शन नहीं कर सकी, जिसको वह विधानसभा चुनाव में भुना सके। भाजपा के नेता केवल अपने आपको डिफेंड करने के लिए ही प्रेस वक्तव्य और प्रेस वार्ता करते आ रहे हैं।
महाराष्ट्र और हरियाणा में बीजेपी पीएम मोदी के नाम और राष्ट्रीय मुद्दों पर वोट हासिल नहीं कर सकी। ऐसे में इन मुद्दे का दिल्ली में भी चल पाना मुश्किल नजर आ रहा है। यही सोचकर आम आदमी पार्टी के नेता हरियाणा में हुई अपनी हार में भी जीत देख रहे हैं।