-आरजेडी-कांग्रेस से अलग चार दलों के नेताओं ने जताया शरद पर भरोसा
-तेजस्वी को अपना नेता मानने को तैयार नहीं महागठबंधन के नेता
टीम एटूजैड/ पटना/ 15 फरवरी, 2020
दिल्ली विधानसभा चुनाव में राष्ट्रीय जनता दल की करारी हार के बाद बिहार में भी आरजेडी के रास्ते में अड़चनें खड़ी होने लगी हैं। महागठबंधन में शामिल चार दलों के नेताओं ने आरजेडी प्रमुख तेजस्वी यादव को गठबंधन का नेता मानने से मना कर दिया है। जबकि आरजेडी ने पहले ही अपनी ओर से तेजस्वी के नाम पर सरकार बनाने और उन्हें महागठबंधन का नेता बताने का दावा कर दिया है। ऐसे में बिहार में आने वाले दिनों में महागठबंधन में बवाल देखने को मिल सकता है। बिहार में नवंबर महीने में विधानसभा चुनाव होना है। इसके लिए राजनीतिक दलों ने तैयारियां शुरू कर दी हैं।
चुनावी तैयारियों को लेकर पटना में शुक्रवार को महागठबंधन की बैठक हुई। इस बैठक में महागठबंधन के नेताओं ने राजद नेता तेजस्वी यादव को अपना नेता मानने से इनकार कर दिया। बैठक में शामिल नेताओं ने शरद यादव को बिहार के मुख्यमंत्री का उम्मीदवार बनाने की मांग की है। खास बत यह रही कि इस बैठक में कांग्रेस और आरजेडी नेताओं को आमंत्रित नहीं किया गया था।
शुक्रवार को हुई बैठक में महागठबंधन के जीतन राम मांझी (हम), उपेंद्र कुशवाहा (आरएलएसपी) और मुकेश साहनी (वीआईपी) ने पटना में लोकतांत्रिक जनता दल के मुखिया व पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव को सीएम पद का उम्मीदवार बनाने की मांग की है। सूत्रों का कहना है कि उपेंद्र कुशवाहा और मुकेश साहनी ने आरजेडी नेता तेजस्वी यादव के महागठबंधन के नेता होने पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
बताया जा रहा है कि महागठबंधन के नेता इस बात को लेकर नाराज हैं कि आरजेडी ने एकतरफा फैसले में तेजस्वी यादव को महागठबंधन का नेता और मुख्यमंत्री का उम्मीदवार घोषित कर रखा है। खास बात है कि तेजस्वी को मुख्यमंत्री का चेहरा बनाने को लेकर महागठबंधन के किसी भी दल से कोई बातचीत नहीं की गई। बैठक के बाद जीतन राम मांझी ने कहा कि विधानसभा चुनाव को लेकर विचार विमर्श आगे भी जारी रहेगा।
आरजेडी को भरोसा, मिलेगा आशीर्वाद
हालांकि आरजेडी ने भरोसा जताया है कि उसे शरद यादव का साथ मिल जाएगा। आरजेडी प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि शरद यादव वरिष्ठ नेता हैं और वह तेजस्वी यादव को मुख्यमंत्री बनने का आशीर्वाद देंगे। उन्होंने कहा कि महागठबंधन में मुख्यमंत्री का चेहरा तेजस्वी यादव ही हैं और इसको लेकर किसी भी दल को किसी तरह की शंका नहीं होनी चाहिए।
आरजेडी अकेले ही लॉच कर चुकी अभियान
महागठबंधन के चार दल भले ही अलग राह पर चल पड़े हों, लेकिन आरजेडी ने अपना चुनावी अभियान अकेले ही लॉंच कर दिया है। इसके लिए लालू प्रसाद यादव के बेटे तेज प्रताप यादव ने बीते दिनों एक पोस्टर भी जारी किया था। इस पोस्टर के जरिए पार्टी के कैंपेन का दिखाया गया है। आरजेडी ने इस पोस्टर में ‘तेज रफ्तार, तेजस्वी सरकार’ का नारा दिया है। आरजेडी के अभियान में तेजस्वी के चेहरे का इस्तेमाल कर सरकार बनाने का दावा पेश किया जा रहा है। सीधे तौर पर आरजेडी ने तेजस्वी यादव को महागठबंधन का नेता बताया है।
नीतीश की अगुवाई में चुनाव लड़ेगी बीजेपी
बिहार विधानसभा चुनाव में जेडीयू-बीजेपी आपस में गठबंधन करके चुनाव लड़ेंगे। एनडीए में शामिल दल बिहार विधानसभा चुनाव में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में मैदान में उतरेंगे। बीजेपी के पूर्व अध्यक्ष अमित शाह ने जेडीयू के साथ चले आ रहे मतभेदों को पहले ही दूर कर दिया है। दिल्ली के विधानसभा चुनाव में भी अमित शाह और नीतीश कुमार ने एक साथ मंच साझा किया था। हालांकि 2015 के बिहार विधानसभा चुनाव में आरजेडी और जेडीयू ने मिलकर चुनाव लड़ा था। तब बीजेपी दूसरे स्थान पर रही थी। लेकिन दो साल बाद ही नीतीश ने राजद का साथ छोड़ वापस बीजेपी के साथ हाथ मिला लिया था।