मंत्री ने लगाया दिल्ली मेट्रो पर मनमानी का आरोप

-दिल्ली सरकार के निदेशक मंडल पर तेजी दिखाए डीएमआरसीः गहलोत
-महत्वपूर्ण मुद्दों पर गैरकानूनी तरीके से फैसले ले रहा डीएमआरसी बोर्ड!

टीम एटूजेड/ नई दिल्ली
दिल्ली के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने दिल्ली मेट्रो प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने डीएमआरसी के एमडी के लिए कहा कि वह दिल्ली सरकार की ओर से नामित निदेशक मंडल पर निर्णय लेने में तेजी दिखाएं। साथ ही दिल्ली सरकार के प्रतिनिधि के बिना महत्वपूर्ण मुद्दों पर गैर-कानूनी तरीके से बोर्ड बैठक में निर्णय लेने से बचें।
कैलाश गहलोत ने बताया कि दिल्ली सरकार ने 13 जुलाई 2019 को डीएमआरसी के स्वतंत्र निदेशक बोर्ड में तीन लोगों को नामित किया था। उस पर चार महीने बाद भी कोई निर्णय नहीं लिया गया। हमें 26 सितंबर को आयोजित निदेशक बोर्ड के मिनट्स से पता चला कि यह एजेंडा का हिस्सा था, लेकिन निर्णय नहीं लिया गया। इसके अलावा बोर्ड ने कई महत्वपूर्ण मामलों पर निर्णय लिए और दिल्ली सरकार के किसी प्रतिनिधि के बिना ही इसे पारित कर दिया गया।
बैठक में लिए गए निर्णय अवैध और अव्यवहारिक हैं। डीएमआरसी में दिल्ली सरकार की 50 फीसदी भागीदारी है। वह निदेशकों की संख्या के बराबर की हिस्सेदारी रखती है। इसलिए डीएमआरसी को दिल्ली सरकार के प्रतिनिधित्व के बिना निर्णय लेना बंद कर देना चाहिए। कैलाश गहलोत ने कहा कि बोर्ड की बैठक में फैसला किए बिना दिल्ली सरकार की सिफारिशों पर कानूनी राय लेना गैरकानूनी है। कैलाश गहलोत ने कहा कि मैं डीएमआरसी के प्रबंध निदेशक को पत्र लिखकर इस फैसले में तेजी लाने और सरकार के नामितों को नियुक्त करने के लिए लिख रहा हूं।