-प्रदेश प्रवक्ता प्रवीण शंकर कपूर, दिल्ली नगर निगम में नेता प्रतिपक्ष और उप नेता प्रतिपक्ष ने खोली मेयर शैली ओबरॉय व मंत्री आतिशी के कारनामों की पोल
एसएस ब्यूरो/ नई दिल्ली, 8 अगस्त।
दिल्ली नगर निगम (Municipal Corporation of Delhi) में सत्ता परिवर्तन के बाद आम आदमी पार्टी (Aaam Aadmi Party) की मेयर शैली ओबरॉय और मंत्री आतिशी का नया कारनामा सामने आया है। प्रदेश भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने आप नेताओं पर नगर निगम में कम्युनिस्ट शिक्षा पद्धति लागू करने और छात्रों के बीच धर्म, जाति और लिंग के आधार पर भेदभाव का आरोप लगाया है। बीजेपी नेताओं ने यह भी कहा है कि छात्रों को हर वर्ष मिलने वाले वर्दी के 1100 रूपये की राशि को घटाकर 600 रूपये कर दिया गया है।
दिल्ली भाजपा मीडिया प्रमुख एवं प्रवक्ता प्रवीण शंकर कपूर, एम.सी.डी. में नेता प्रतिपक्ष सरदार राजा इकबाल सिंह के साथ उप नेता जय भगवान यादव ने एमसीडी के शिक्षा विभाग में गंदी राजनीति खेलने के लिए दिल्ली सरकार की शिक्षा मंत्री आतिशी और मेयर शैली ओबेरॉय की निंदा की है। उन्होंने कहा कि वरिष्ठ भाजपा पार्षर्दों का एक प्रतिनिधिमंडल शीघ्र ही निगम आयुक्त को शिक्षा विभाग में चल रही अनियमित्ताओं को लेकर ज्ञापन देगा।
भाजपा नेताओं ने कहा कि यह दुखद है कि आतिशी और शैली ओबेरॉय जिस दिन से एम.सी.डी. में सत्ता में आई हैं। दिल्ली के प्राथमिक स्कूलों में सुधार के बड़े-बड़े दावे किए जा रहे हैं। सच्चाई यह है कि स्कूल का बुनियादी ढांचा चरमरा गया है और सबसे ज्यादा नुकसान छात्रों को हो रहा है, जिनमें से ज्यादातर समाज के सबसे गरीब तबके से आते हैं।
दिल्ली भाजपा के प्रवक्ता प्रवीण शंकर कपूर ने कहा कि आतिशी अक्सर छात्रों को सर्वोत्तम सुविधाएं देने का दावा करती हैं लेकिन सच्चाई यह है कि जब से आम आदमी पार्टी सत्ता में आई है तब से एम.सी.डी. के स्कूलों के छात्रों को बुनियादी सुविधाओं से भी वंचित किया जा रहा है। शैक्षणिक वर्ष 2022-23 तक एम.सी.डी. के सभी छात्रों को वार्षिक वर्दी भत्ते के रूप में हर साल 1100 रुपये मिलते थे लेकिन यह जानकर हैरानी होती है कि शिक्षा मंत्री आतिशी और मेयर शैली ओबेरॉय के अधीन एम.सी.डी. प्रशासन ने वार्षिक वर्दी भत्ते में कटौती कर इसको मात्र रूपए 600 कर दिया है।
भाजपा प्रवक्ता ने कहा है कि पिछले साल तक एम.सी.डी. स्कूलों के सभी छात्रों को वर्दी भत्ता मिलता था लेकिन यह देखकर हैरानी होती है कि आतिशी और शेली ओबेरॉय के तहत वर्दी भत्ता अब जाति और लिंग के आधार पर दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि गंदी राजनीति तहत अब एम.सी.डी. प्रशासन ने छात्रों के वर्दी भत्ते को लगभग आधा करते हुए कहा है कि अब केवल छात्राओं और अनुसूचित जाति एवं जनजाति समुदाय के छात्रों को ही वर्दी भत्ता मिलेगा।
यह देखना शर्मनाक है कि आप नेतृत्व ने स्कूल यूनिफॉर्म जैसी बुनियादी जरूरत के लिए छात्रों को जाति के आधार पर बांट दिया है। इससे भी ज्यादा चैंकाने वाली बात यह है कि पिछले शैक्षणिक वर्ष तक वर्दी भत्ता एम.सी.डी. फंड से दिया जाता था जबकि इस वर्ष केंद्र सरकार द्वारा उपलब्ध कराये गये सर्व शिक्षा अभियान के फंड का इसके लिये उपयोग किया गया है। दिल्ली के लोग जानना चाहते हैं कि एम.सी.डी. एवं दिल्ली सरकार ने वर्दी भत्ता क्यों कम कर दिया है और वर्दी वितरण को जाति आधारित बनाने के अलावा वर्दी वितरण के लिए फंड भी क्यों बंद कर दिया है।
नेता प्रतिपक्ष सरदार राजा इकबाल सिंह ने दिल्ली की शिक्षा मंत्री आतिशी और मेयर शैली ओबेरॉय द्वारा नगर निगम स्कूलों का बुनियादी ढांचा सुधारने के दावे करने लेकिन जमीनी स्तर पर शिक्षा व्यवस्था में सुधार के लिए कुछ नहीं करने के लिये निंदा की है। उन्होंने कहा कि यह खेदपूर्ण है कि दिल्ली नगर निगम ने केजरीवाल सरकार से मिला तीन क्वार्टर का शिक्षा फंड कर्मचारी वेतन वितरण में दुरूपयोग कर दिया और अब स्कूलों में छात्र सुविधा में कटौती की जा रही है। यह चौंकाने वाली बात है कि अगस्त का पहला सप्ताह समाप्त हो गया है और एम.सी.डी. छात्रों को कॉपी नोट बुक्स जारी नहीं की गई हैं। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि केजरीवाल सरकार की गंदी राजनीति के कारण बीजेपी शासित एम.सी.डी. हमेशा आर्थिक तंगी में रही लेकिन हमने हमेशा कोशिश की और जुलाई के मध्य तक छात्रों को किताबें, नोट बुक्स, कॉपी और वर्दी भत्ता प्रदान किया।
आज दिल्ली में एक ऐसी सरकार है जो एमसीडी पर भी शासन करते हुए उच्चतम शिक्षा बजट देने को दावा करती है लेकिन छात्रों की बुनियादी जरूरतों पूरी नही कर पा रही है। आतिशी और शैली ओबेरॉय दोनों दिल्ली सरकार के कम्युनिस्ट शिक्षा एजेंडे को एम.सी.डी. में लागू करने का प्रयास कर रही हैं। शिक्षकों को सलाहकार और शिक्षा विभाग के क्लर्क के रूप में दुरुपयोग किया जा रहा है।
उपनेता जय भगवान यादव ने कहा कि आम आदमी पार्टी द्वारा भारत माता की प्रतिमा के हाथ में भगवा बदल कर इतिहास को विकृत करते देखना चैंकाने वाली बात है। उन्होंने कहा कि भगवा झंडा किसी विशेष समुदाय का नहीं है, यह भारतीय संस्कृति को दर्शाता है और आप नेताओं ने सिर्फ एक विशेष समुदाय को खुश करने के लिए इसे बदल दिया है। हम इसकी कड़ी निंदा करते हैं। उन्होंने कहा कि यह खेदपूर्ण हैं कि आज शिक्षा क्रांति का दावा करने वाली सरकार के शासन में दिल्ली नगर निगम के स्कूलों में शिक्षक-छात्र अनुपात सबसे ज्यादा खराब हो गया है।
तीनों भाजपा नेताओं ने कहा कि हमें समझ नहीं आ रहा की एम.सी.डी. सरकार ने वर्दी भत्ता लगभग आधा क्यों कर दिया है और अगस्त का पहला सप्ताह समाप्त होने के बावजूद छात्रों को नोट बुक्स, कापी क्यों उपलब्ध नहीं कराई हैं जबकि आप नेता शिक्षा व्यवस्था में सुधार के बड़े-बड़े दावे करते रहते हैं।