झूठ पकड़े जाने पर बैठक से ‘चुपचाप खिसक गये आप विधायक’

-एसडीएमसी के सदन में आप विधायक अजय दत्त के झूठ का पर्दाफाश

एसएस ब्यूरो/ नई दिल्ली
दिल्ली सरकार द्वारा मृतक निगम कोरोना योद्धाओं के परिवारों को 1 करोड़ की सहायता राशि ना देने के मुद्दे पर आम आदमी पार्टी के विधायक को अपने ही बयान पर शर्मसार होना पड़ा। स्थिति यहां तक पहुंच गई कि आप एमएलए को चुपचाप बैठक से खिसकना पड़ा। दरअसल बुधवार को दक्षिणी दिल्ली नगर निगम की बैठक में कोरोना योद्धाओं की मृत्यु पर केजरीवाल सरकार द्वारा निगम कर्मियों को सम्मान नहीं दिये जाने का मुद्दा उठाया गया।

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नेता सदन नरेंद्र चावला ने कहा कि दिल्ली की केजरीवाल सरकार नगर निगम के मृतक कोरोना योद्धाओं के परिवारों के साथ नाइंसाफी कर रही है और उन्हें 1 करोड़ की सहायता राशि नहीं दे रही है। इस पर बैठक में शामिल होने आये आप विधायक अजय दत्त ने कहा कि ‘‘आज तक दक्षिणी दिल्ली नगर निगम की ओर से मृतक कोरोना योद्धाओं के परिवारों को 1 करोड़ की सहायता राशि संबंधी कोई भी अनुशंसा दिल्ली सरकार को नहीं भेजी गई है।’’ एमएलए अजय दत्त अपने इसी बयान पर फंस गये।

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आप विधायक के इस बयान के जवाब में दक्षिणी निगम के एक वरिष्ठ अधिकारी ने सदन के पटल पर ऑन रिकॉर्ड यह कहा कि हमारे यहां से इस संदर्भ में फाइलें दिल्ली सरकार को भेजी गयी हैं। अपना झूठ पकड़े जाने पर विधायक ने इससे संबंधित दस्तावेज़ देखने की मांग की जिसके जवाब में अधिकारी ने बिना किसी देरी के दस्तावेज दिखाने की बात कही। इसी बीच विधायक बिना कोई दस्तावेज देखे सदन की बैठक को बीच में ही छोड़कर दबे पांव निकल गये।

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इसके बाद नेता सदन (बीजेपी) नरेंद्र चावला ने कहा कि दिल्ली सरकार की पूरी कार्य प्रणाली ही झूठ की बुनियाद पर टिकी हुई है। उनका उद्देश्य निगमों को पंगु बनाना है। दिल्ली के मुख्यमंत्री ने खुद मृतक कोरोना योद्धाओं के परिवारों को 1 करोड़ की सहायता राशि देने की घोषणा की थी लेकिन जब निगम के मृतक कर्मचारियों को यह सम्मान राशि देने की बात आई तो उन्होंने अपने हाथ पीछे खींच लिए। पूरा प्रकरण यह दर्शाता है कि उनकी कथनी और करनी में बहुत अंतर है। निगम कर्मचारियों के प्रति आम आदमी पार्टी के नेताओं की यह संवेदनहीनता अब जनता के सामने है और आज उनके विधायक के झूठ का पर्दाफाश भी इसी का ही एक रूप है।