-उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और हरियाणा राज्यों में बनी सहमति
-वीडिया कांफ्रेंसिंग के जरिए की गई चर्चा में हुआ फैसला
-योगी का फरमानः बकरीद पर 5 से ज्यादा लोग न जुटें
टीम एटूजैड/लखनऊ
कोविड-19 महामारी के खतरे को देखते हुए इस साल कांवड़ यात्रा का आयोजन नहीं किया जाएगा। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस बारे में हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर और उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत से चर्चा की। वीडियो कॉफ्रेंसिंग के जरिये हुई चर्चा में तीनों मुख्यमंत्रियों ने व्यापक जनहित को देखते हुए इस साल कांवड़ यात्रा स्थगित रखने का फैसला किया है। बता दें कि तीनों राज्यों के धर्मगुरुओं और कांवड़ संघों ने भी राज्य सरकारों को इस साल कांवड़ यात्रा स्थगित करने का प्रस्ताव दिया था।
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गौरतलब है कि हर साल सावन के महीने में होने वाली कांवड़ यात्रा में लाखों शिवभक्त कांवड़िये शामिल होते हैं। हरिद्वार से जल लेकर पैदल यात्रा करते हुए अपने-अपने यहां शिव मंदिरों में जलाभिषेक करते हैं। यात्रा के दौरान बड़े पैमाने पर सरकारी अमले को कानून-व्यवस्था, यातायात व अन्य इंतजामों में लगाना पड़ता है।
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कांवड़ियों की सबसे ज्यादा संख्या उत्तर प्रदेश और हरियाणा से आती है। इसके चलते तीनों राज्यों ने इस बारे में चर्चा करने का फैसला किया था। बैठक के दौरान तीनों राज्यों के अधिकारियों ने कांवड़ियों की भीड़ में सोशल डिस्टेंसिंग को असंभव बताते हुए संक्रमण फैलने की आशंका जताई थी।
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दिल्ली, राजस्थान और पंजाब से होगी चर्चा
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा है कि जल्दी ही पंजाब, राजस्थान और दिल्ली के मुख्यमंत्रियों के साथ भी चर्चा की जाएगी। क्योंकि इन राज्यों से भी कांवड़िये हर साल भारी संख्या में हरिद्वार से गंगाजल लेने जाते हैं। बताया जा रहा है कि कांवड़ यात्रा का आयोजन नहीं किये जाने का फैसला किया जा चुका है। अब इन तीनों राज्यों से अनुरोध किया जाएगा कि वह भी अपने-अपने यहां कांवड यात्रा को स्थगित कर दें। बता दें कि हरियाणा, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड राज्यों में बीजेपी की सरकारें हैं। जबक राजस्थान और पंजाब में कांग्रेस व दिल्ली में आम आदमी पार्टी की सरकार है।
धर्मगुरुओं, कांवड़ संघों, शांति समितियों से बात करेंगे अधिकारी
मुख्यमंत्रियों से बातचीत के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जोन के अपर पुलिस महानिदेशकों और मंडलायुक्तों से संवाद किया। उन्होंनें अधिकारियों को अपने-अपने इलाकों में धर्मगुरुओं, कांवड़ संघों और शांति समितियों से बात करने के आदेश दिये। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि स्थानीय शिवालयों में भ्ज्ञी जलाभिषेक के लिए पांच या उससे कम संख्या में ही लोग जाएं। इस तरह की व्यवस्था की जाए कि श्रद्धालुओं की सुरक्षा 2 गज की दूरी और मास्क लगाने का पालन किया जाए।
बकरीद पर पांच से ज्यादा लोग न हों जमा
मुख्यमंत्री योगी ने आदेश दिया है कि एक अगस्त को मनाए जाने वाले ईद-उल-अजहा (बकरीद) के मौके पर भी भीड़भाड़ को इकट्ठा नहीं होने दिया जाए। राज्य के सभी जिलों में धर्मगुरुओं से संवाद करके यह सुनिश्चित किया जाए कि बकरीद पर किसी भी धार्मिक स्थल पर पांच से ज्यादा लोग इकट्ठा नहीं हों। कोरोना संक्रमण को देखते हुए सभी ज्योहारों के दौरान सभी समुदायों के लोगों को जागरूक किया जाए। इस मौके पर मुख्य सचिव आरके तिवारी, अपर मुख्य सचिव गृह एवं सूचना अवनीश कुमार अवस्थी, पुलिस महानिदेशक एचसी अवस्थी मौजूद रहे।