-शारदा निकेतन चौक, पीतमपुरा में बैंक विहार के सामने डीडीए ग्राउंड होगा आयोजन
-महापंडित चंद्रमणि मिश्र के सानिंध्य में श्री पीठम द्वारा किया जा रहा यज्ञ का आयोजन
-5 अगस्त से शुरू होंगी यज्ञ की तैयारियां, 21 से 27 अगस्त चलेंगे यज्ञ के कार्यक्रम
एसएस ब्यूरो/ नई दिल्लीः 24 जुलाई, 2022
राजधानी दिल्ली के शारदा निकेतन चौक, पीतमपुरा में बैंक विहार के सामने स्थित डीडीए ग्राउंड में 108 कुंडीय महालक्ष्मी यज्ञ का आयोजन होने जा रहा है। यज्ञाचार्य महापंडित चंद्रमणि मिश्र के सानिंध्य में करीब 500 वैदिक विद्वानों द्वारा किया जाने वाला यह यज्ञ 21 अगस्त को शुरू होगा और 27 अगस्त 2022 तक चलेगा। श्री पीठम के अध्यक्ष महापंडित चंद्रमणि मिश्र के मुताबिक भारतीय वैदिक संस्कृति में यज्ञ का विशेष महत्व है। यज्ञ के माध्यम से ही देवों को भोजन प्रदान किया जाता है। यज्ञ के माध्यम से जीव कल्याण होतो है और इंद्र देव प्रसन्न होते हैं।
श्री चंद्रमणि मिश्र ने बताया कि यज्ञ में अपना आशीर्वाद प्रदान करने के लिए देश े जाने माने आचार्य, महामंडलश्वर, वैदिक विद्वान, चिंतक, विचारक पदाधारेंगे। इसके अलावा केंद्र के शीर्षस्थ राज नेताओं को निमंत्रण भेजा गया है। यज्ञ में अनेक देशों के राजदूत, अनेक राज्यों के राज्यपाल, मुख्यमंत्री भी अपनी अपनी ओर से आहुति समर्पित करने के लिए पधारेंगे। इसके लिए अनेक कमेटियों का गठन किया गया है।
श्री पीठम के प्रवक्ता आचार्य रामगोपाल शुक्ल ने बताया कि वर्षों से राजधानी में 108 कुंडीय यज्ञ नहीं हुए हैं। इस ऐतिहासिक महायज्ञ में प्रातःकाल यज्ञ में आहुतियां प्रदान की जायेंगी व सांयकाल भगवती अष्ट लक्ष्मी की महाआरती का दृष्य दर्शनीय होगा। राजधानी के हजारों लोग इस महाआरती में शामिल होकर, हाथों में दीपक लेकर महालक्ष्मी की प्रार्थना करेंगे।
उन्होंने बताया कि 5 अगस्त को 108 कुंडों का निर्माण कार्य देश के जाने माने महामंडलेश्वरों, संतों, महात्माओं, बौद्धिक वर्ग के साथ वैदिक विद्वानों द्वारा भगवती महालक्ष्मी पूजन और भूमि पूजन के बाद शुरू किया जायेगा। यज्ञ मंडप बनाने के लिए देश के जाने माने शिल्पकारों को बुलाया गया है। यज्ञ मंडप में ही भगवती महालक्ष्मी का भव्य मंदिर, पूजन स्थल, भंडार गृह, प्रसादम एवं भोजनालय, भारत के कोने कोने से आये वैदिक विद्वानों के रहने की व्यवस्थ्ज्ञा, गौशाला, पानी की व्यवस्था, जूता व्यवस्था एंव अन्य व्यवस्थाओं के लिए भव्य एवं सुंदर संरचना की जायेगी।