निगम अधिकारियों व बिल्डर माफिया का गठजोड़… कागजों में सील मॉल में चल रहा करोड़ों का कारोबार!

-उत्तरी दिल्ली नगर निगम के करोलबाग जोन का मामला
-करोलबाग इलाके के अजमल खां रोड (बीडनपुरा) का मामला
-कागजों में सील ‘एन डी मॉल’ में चल रहा धड़ल्ले से कारोबार

हीरेन्द्र सिंह राठौड़/ नई दिल्ली
उत्तरी दिल्ली नगर निगम में बड़े स्तर पर चल रहे भ्रष्टाचार का एक और मामला सामने आया है। अवैध रूप से बनाए गए एक मॉल (बहुमंजिला बिल्डिंग) निगम के रिकॉर्ड के अनुसार कागजों में तो सील है, लेकिन लेकिन इसमें बड़े-बड़े शोरूम खुलवाकर करोड़ों का कारोबार धड़ल्ले से चल रहा है। इस मामले ने सिद्ध कर दिया है कि निगम अधिकारियों और बिल्डर माफिया का यह गठजोड़ बहुत बड़े स्तर का है। बताया जा रहा है कि मामले में दिल्ली बीजेपी के कुछ बड़े नेता शामिल हैं। जिसकी वजह से सीलिंग में टेंपरिंग की एफआईआर होने के बावजूद बिल्डर माफिया के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है।

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प्राप्त जानकारी के मुताबिक करोलबाग जोन के अजमल खां रोड स्थित (बीडन पुरा) की संपत्ति संख्याः 2734/37/ 2720-21, गली संख्याः 23 एवं 24 में नियमों को ताक पर रखकर एक बहुमंजिला इमारत (मॉल) बनाई गई थी। यह बिल्डिंग मुकेश गर्ग और पन्ना लाल सर्राफ की बताई जा रही है, जो कि  करोलबाग जोन ने इस इमारत को सभी तलों पर अवैध निर्माण के चलते बुक कर लिया था। इसके पश्चात इसके मामले में प्रॉपर्टी (मॉल के) मालिकों को कारण बताओ नोटिस जारी किये गये थे। तत्पश्चात करोलबाग जोन के बिल्डिंग विभाग के अधिकारियों ने इस बिल्डिंग को साल 2013 में सील कर दिया था। लेकिन बताया जा रहा है कि अपनी पहुंच का फायदा उठाते हुए बिल्डर माफिया ने बिल्डिंग को डीसील कराने के बजाय खुद ही सील को तोड़ दिया था। इसके पश्चात नगर निगम की ओर से इस बिल्डिंग को री-सील किया गया था और प्रॉपर्टी ओनर्स के खिलाफ करोलबाग थाने में एफआईआर भी दर्ज कराई गई थी।

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लेकिन यह मॉल एक बार फिर अधिकारियों की मिलीभगत से खोल दिया गया और इस बिल्डिंग में बड़े-बड़े शोरूम खोल दिये गये। बताया जा रहा है कि जिन लोगों ने यह मॉल बनाया है, करोलबाग इलाके में इनकी ऐसी कई बड़ी प्रॉपर्टी हैं और सभी को नियम-कायदे और कानूनों को ताक पर रखकर बनाया गया है। इनमें से ज्यादातर संपत्तियों के खिलाफ नगर निगम ने कानूनी कार्रवाई तो की है, लेकिन यह कार्रवाई केवल कागजों तक सिमट कर रह गई है।